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मज़दूर परिवार की बेटी देसी जुगाड़ लगाकर करती है वेट लिफ्टिंग की प्रेक्टिस, खुद की मेहनत के दम पर जीत चुकी है गोल्ड मेडल

राजस्थान के झुंझुनूं की कंचन ने 2023 में जयपुर में आयोजित संभाग स्तरीय वेटलिफ्टिंग खेल प्रतियोगिता में 71 किलो महिला भार वर्ग में 42 किलो स्निच करते हुए 52 किलो क्लीन एंड जर्क, कुल 94 किलो वजन उठाकर स्वर्ण पदक जीता है।
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राजस्थान के झुंझुनूं की कंचन ने 2023 में जयपुर में आयोजित संभाग स्तरीय वेटलिफ्टिंग खेल प्रतियोगिता में 71 किलो महिला भार वर्ग में 42 किलो स्निच करते हुए 52 किलो क्लीन एंड जर्क, कुल 94 किलो वजन उठाकर स्वर्ण पदक जीता है।

कंचन का सपना है कि वह भी अपने देश का प्रतिनिधित्व करते हुए ओलंपिक में मेडल जीते। लेकिन इस बच्ची के सामने कई चुनौतियां हैं। आपने कंचन के सपने पढ़े हैं, लेकिन थोड़ा समय निकालकर उसके संघर्षों को भी जानिए।

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कंचन के पास संसाधनों की कमी है पर उसका आत्मविश्वास जबरदस्त है। वह जिले के छोटे से गांव मंडावरा में रहती है। कंचन ने वेटलिफ्टिंक की प्रैक्टिस के लिए अपने घर पर मटकों में सीमेंट भरकर देसी जुगाड़ बना रखा है।

यह जानकारी जब राज्य क्रीड़ा परिषद के अध्यक्ष कृष्णा पूनिया को हुई तो उन्होंने खेल विभाग की टीम की ओर से कंचन के घर पर वेटलफ्टिंग का सामान भेजा दिया है। कंचन पिछले 4 वर्षों से विभिन्न खेलों में भाग ले चुकी हैं।

अभी हाल ही मे कंचन वेटलिफ्टिंग की तैयारी कर रही थीं, पर घर की स्थिति इतनी मजबूत नहीं कि कंचन वेटलिफ्टिंग का पूरा सेट खरीद सकें। इसी का एक जुगाड़ कंचन ने निकाला और घर में जो मिट्टी के मटके और मिट्टी के बर्तन थे, उनमें सीमेंट भरकर उन्होंने वेटलिफ्टिंग के सेट की तरह ही प्रेक्टिस करती है।

कंचन मंडावरा गांव की ढाणी घाटियों की रहने वाली हैं। कंचन के पिता कालूराम और माता शांति देवी मजदूरी करके अपना घर परिवार चलाते हैं। बता दें कंचन अभी तक वेटलिफ्टिंग में कांस्य पदक और स्वर्ण पदक जीत चुकी हैं। इसी साल 2023 में जिला स्तरीय वेटलिफ्टिंग प्रतियोगिता में कंचन स्वर्ण पदक जीता है।