BSNL यूजर्स के लिए सरदर्दी बना 4G का सिग्नल ? ऐसे कर सकते है समाधान

BSNL भारत की प्रमुख सरकारी टेलीकॉम कंपनी ने अपने 4G सर्विसेज के विस्तार के लिए कई टेलीकॉम सर्किल में मोबाइल टावरों को अपग्रेड किया है
 

BSNL 4G Service: BSNL भारत की प्रमुख सरकारी टेलीकॉम कंपनी ने अपने 4G सर्विसेज के विस्तार के लिए कई टेलीकॉम सर्किल में मोबाइल टावरों को अपग्रेड किया है. इस विस्तार से BSNL की डिजिटल उपस्थिति मजबूत होगी और ग्राहकों को बेहतर सेवाएँ मिलेगी.

4G टावरों का निर्माण और योजना

BSNL ने भारत में 1 लाख मोबाइल टावर लगाने की योजना बनाई है जिसमें से 75 हजार टावरों की स्थापना इस महीने के अंत तक पूरी की जाएगी. यह विस्तार न केवल कवरेज बढ़ाएगा बल्कि नेटवर्क की गुणवत्ता में भी सुधार करेगा.

स्पेक्ट्रम आवंटन और तकनीकी चुनौतियाँ

दूरसंचार विभाग (DoT) ने BSNL को 700MHz और 2100MHz स्पेक्ट्रम बैंड आवंटित किए हैं. 2100MHz बैंड पर 4G सेवाओं की क्षमता सीमित है, जिससे उपयोगकर्ताओं को कनेक्टिविटी में समस्या आ सकती है. वहीं 700MHz बैंड का उपयोग मुख्यतः 5G सेवाओं के लिए किया जाता है जिसे BSNL ने 4G के साथ-साथ 5G सेवाओं के लिए भी मिली है.

स्मार्टफोन निर्माताओं के साथ साझेदारी 

मोबाइल डिवाइस के इकोसिस्टम को 700MHz बैंड पर पूरी तरह से विकसित नहीं किया गया है, जिससे BSNL के लिए चुनौतियाँ बढ़ी हैं. इसे देखते हुए दूरसंचार विभाग ने मोबाइल निर्माताओं को 700MHz बैंड पर आधारित 4G डिवाइस विकसित करने के लिए प्रोत्साहित किया है. इससे यूजर्स को खरीदारी के समय यह पता चलेगा कि उनका स्मार्टफोन BSNL के नेटवर्क को सपोर्ट करेगा.