दादा परदादा की पुश्तैनी जमीन का नक्शा नही मिला तो करे ये काम, मिनटों में हो जाएगा आपका ये काम

बिहार के निवासियों के लिए अब जमीन के नक्शे से संबंधित सेवाएं अधिक सुगम और सहज बनाई गई हैं। पहले जहाँ जमीन का नक्शा प्राप्त करने के लिए राजधानी पटना के चक्कर लगाने पड़ते थे।
 

बिहार के निवासियों के लिए अब जमीन के नक्शे से संबंधित सेवाएं अधिक सुगम और सहज बनाई गई हैं। पहले जहाँ जमीन का नक्शा प्राप्त करने के लिए राजधानी पटना के चक्कर लगाने पड़ते थे। वहीं अब यह सुविधा आपके नजदीकी जिले के कार्यालय में भी उपलब्ध है। इससे न केवल समय की बचत होगी बल्कि प्रक्रिया भी काफी सरल हो गई है।

बिहार सरकार द्वारा जमीन के नक्शे से संबंधित सेवाओं को सरल बनाना एक सराहनीय कदम है। जिससे नागरिकों को अपनी जमीन से संबंधित महत्वपूर्ण जानकारियाँ आसानी से प्राप्त हो सकती हैं। इससे समय की बचत के साथ-साथ प्रक्रिया में भी पारदर्शिता आती है, जो अंततः राज्य के विकास में योगदान देगी।

ऑफलाइन और ऑनलाइन सेवाओं की उपलब्धता

बिहार सरकार ने अपने नागरिकों को दोहरी सुविधा प्रदान की है, जिसमें वे चाहें तो ऑफलाइन मोड में जिले के कार्यालय जाकर और चाहें तो ऑनलाइन मोड में DLRS के आधिकारिक वेबसाइट के माध्यम से जमीन का नक्शा प्राप्त कर सकते हैं।

ऑनलाइन प्रक्रिया में गूगल पर DLRS टाइप करते ही आधिकारिक वेबसाइट का लिंक मिल जाता है, जिससे प्रक्रिया और भी आसान हो जाती है।

आवेदन प्रक्रिया

जमीन का नक्शा प्राप्त करने के लिए आवेदक को जिले के कार्यालय में आवेदन देना होगा। इस आवेदन में जमीन से संबंधित सभी महत्वपूर्ण जानकारियाँ जैसे खेसरा नंबर, तोजी नंबर, मौजा नंबर आदि शामिल होनी चाहिए।

साथ ही आवेदन के साथ आधार कार्ड की एक फोटोकॉपी भी लगानी होती है। इस प्रक्रिया के लिए 150 रुपये का शुल्क निर्धारित है। जिसे जमा करने के बाद आवेदक को जमीन का प्रिंटेड नक्शा प्रदान किया जाता है।

नागरिकों के लिए इसके लाभ

इस नई प्रक्रिया के साथ बिहार के नागरिक अब बिना किसी भागदौड़ के और अधिक सुविधाजनक तरीके से अपनी जमीन का नक्शा प्राप्त कर सकते हैं। ऑनलाइन और ऑफलाइन दोनों विकल्पों की उपलब्धता से यह सुनिश्चित होता है कि हर व्यक्ति चाहे उनकी तकनीकी ज्ञान की सीमा जो भी हो, इस सेवा का लाभ उठा सकता है।