भारत में इस जगह है 185 लोगों का  बड़ा परिवार, हर दिन 5 बोरी सब्जी तो इतनी बनती है रोटियां

आधुनिक युग में जहां न्यूक्लियर परिवार (Nuclear Family) की संख्या में वृद्धि हो रही है, वहीं राजस्थान (Rajasthan) के अजमेर जिले के रामसर गांव (Ramsar Village) में एक विशाल जॉइंट फैमिली (Joint Family) का अस्तित्व है, जो इस परंपरा को जीवित रखे हुए है।
 

आधुनिक युग में जहां न्यूक्लियर परिवार (Nuclear Family) की संख्या में वृद्धि हो रही है, वहीं राजस्थान (Rajasthan) के अजमेर जिले के रामसर गांव (Ramsar Village) में एक विशाल जॉइंट फैमिली (Joint Family) का अस्तित्व है, जो इस परंपरा को जीवित रखे हुए है। इस परिवार में 185 लोग एक साथ रहते हैं जिनमें छह पीढ़ियां (Generations) शामिल हैं।

परिवार की जड़ें और पीढ़ियों का संगम

इस विशाल परिवार के मुखिया बिरदीचंद (Biradichand) अपने पिता की नसीहत को मानते हुए पूरे परिवार को एक साथ जोड़कर रखा है। इस परिवार का जीवन एक दूसरे के साथ मिलजुल कर रहने और आपसी समस्याओं (Problems) का हल निकालने में बितता है। खेती (Farming) इनकी मुख्य आजीविका है जिससे यह परिवार अपनी आर्थिक जरूरतों (Financial Needs) को पूरा करता है।

खाना पकाने की चुनौती और सामूहिक जीवनशैली

185 लोगों के लिए तीन समय का खाना बनाना (Cooking) इस परिवार के लिए सबसे बड़ी चुनौती है। इस कार्य में घर की महिलाएं (Women) सुबह चार बजे से ही जुट जाती हैं। एक दिन में चालीस किलो सब्जी (Vegetables) और पचास किलो आटा (Flour) का उपयोग होता है जो इस परिवार की सामूहिक जीवनशैली (Collective Lifestyle) को दर्शाता है।

आर्थिक स्थिति और समाज में योगदान

इस परिवार की सालाना आय (Annual Income) दो करोड़ रुपए है जो खेती और अन्य आजीविका से आती है। इस परिवार के पास पांच सौ बीघा जमीन (Land) है, जिसपर वे खेती करते हैं। इस परिवार के सदस्यों की बाइकें (Bikes) भी उनकी समृद्धि का प्रतीक हैं।