एकबार तलाक देने के बाद उसी महिला से दोबारा कर सकते है शादी? जाने क्या कहता है कानून
शादी (Marriage) को समाज में दो परिवारों के आपसी मिलन का पवित्र बंधन (Sacred Bond) माना जाता है। यह एक ऐसा संबंध है जो दो व्यक्तियों को जीवनभर के लिए एक-दूसरे के साथ बांधता है। लेकिन कभी-कभी कुछ परिस्थितियां ऐसी बन जाती हैं जहां तलाक (Divorce) इस पवित्र बंधन को तोड़ देता है। लोकोक्ति है कि "एक बार जो रिश्ते टूट जाते हैं, वह जल्दी जुड़ते नहीं"। लेकिन उत्तर प्रदेश के गाजियाबाद (Ghaziabad) से आने वाली विनय जायसवाल और पूजा चौधरी की कहानी कुछ इस तरह की है।
तलाक के बाद फिर से शादी
विनय और पूजा ने 2012 में पहली बार शादी की थी। किन्हीं कारणों से 2018 में इन्होंने तलाक (Divorce) ले लिया था। लेकिन जिंदगी ने उन्हें फिर से एक मौका दिया और 2023 में ये दोनों फिर से शादी के बंधन में बंध गए। इस अनोखी घटना ने समाज में एक सकारात्मक संदेश (Positive Message) दिया है।
कानूनी पहलू
भारतीय कानून (Indian Law) के अनुसार तलाक के बाद अगर दोनों पक्ष वापस से एक होना चाहते हैं तो उन्हें इसमें कोई रोक नहीं है। यह तभी संभव है जब दोनों ने तलाक के बाद किसी तीसरे से शादी न की हो। इस तरह की पुनर्विवाह (Remarriage) की घटनाएं न केवल व्यक्तिगत संबंधों में बल्कि कानूनी मान्यताओं में भी एक नई सोच को जन्म देती हैं।
तलाक और फिर विवाह
शादी के कुछ समय बाद तलाक लेने की प्रक्रिया (Divorce Process) में भी कानूनी बंधन होते हैं। अगर कोई जोड़ा शादी के एक महीने बाद ही अलग होना चाहता है तो उन्हें कम से कम एक साल का इंतजार (Waiting Period) करना पड़ता है। यह नियम पति-पत्नी को सुलह (Reconciliation) का मौका देता है जिससे वे अपने रिश्ते को एक और मौका दे सकें।