राजस्थान सरकार किसानों को दे रही 50 हजार की सब्सिडी, जाने पूरी डिटेल
वर्मी कंपोस्ट यूनिट की स्थापना में सरकारी सहायता
सरकार किसानों को वर्मी कंपोस्ट यूनिट स्थापित करने के लिए वित्तीय सहायता (financial assistance for farmers) दी जा रही है. इस अनुदान के माध्यम से किसानों को वर्मी कंपोस्ट यूनिट लगाने में आर्थिक रूप से मदद की जाएगी. इस पहल से उम्मीद है कि अधिकांश किसान इस योजना से जुड़ेंगे और जैविक खेती को अपनाने के लिए प्रेरित होंगे.
आवेदन प्रक्रिया और चयन प्रणाली
किसान ई-मित्र केंद्रों (e-Mitra centres) पर या राजस्थान किसान पोर्टल पर ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं. आवेदनों को 'पहले आओ, पहले पाओ' के आधार पर दी जाएगी. यदि आवेदनों की संख्या निर्धारित लक्ष्य से अधिक हो जाती है तो लॉटरी के माध्यम से चयन किया जाएगा. इस प्रक्रिया के लिए किसानों के पास कम से कम 6 महीने पुरानी जमाबंदी (land record) होनी चाहिए.
वर्मी कंपोस्ट के लाभ और उपयोगिता
वर्मी कंपोस्ट (vermicompost benefits) एक जैविक खाद है जो केंचुओं के जैविक पदार्थों को खाकर और उनके पाचन तंत्र से गुजरने के बाद बनती है. यह खाद दानेदार और हल्के काले रंग की होती है और इसमें विभिन्न पोषक तत्व, हॉर्मोन और एंजाइम होते हैं जो मिट्टी की स्वास्थ्य में सुधार करते हैं और वातावरण को प्रदूषण मुक्त रखते हैं.
अनुदान की राशि और शर्तें
स्थाई वर्मी कंपोस्ट इकाई (permanent vermicompost unit) पर किसानों को दिए जाने वाले अनुदान की राशि काफी उदार है. किसानों को इकाई स्थापना के लिए लागत का 50 प्रतिशत या अधिकतम 50 हजार रुपए तक की अनुदान राशि प्रदान की जाएगी. इसके लिए किसान के पास न्यूनतम 0.4 हेक्टेयर खेती योग्य भूमि (farmable land) होनी चाहिए.