कब्रिस्तान का सर्वे कर रहे वैज्ञानिको को दिखा सीक्रेट दरवाजा, जब खोलकर देखा तो सबके उड़ गये होश
धरती के गर्भ में काफी कुछ ऐसा छिपा है जो हमें पता नहीं। जब वैज्ञानिक इन तक पहुंचते हैं और इनके बारे में बताते हैं तो हम हैरान रह जाते हैं। ऐसा ही कुछ हुआ मिस्र में। पुरातत्वविद गीजा के पिरामिड के पास एक कब्रिस्तान का सर्वे कर रहे थे। तभी जमीन के अंदर उन्हें एक ‘सीक्रेट दरवाजा’ नजर आया।
इसे देखकर वे चौंक गए। छानबीन की तो 4500 साल पुराना राज खुलकर सामने आ गया। ऐसा अब तक कहीं नहीं देखा गया है। गीजा के पिरामिड का इससे खास नाता बताया जा रहा है। गीजा के पिरामिड के पास मिले इस 'सीक्रेट दरवाजे' ने प्राचीन मिस्र के इतिहास के एक और अनछुए पहलू को उजागर किया है।
यह खोज यह साबित करती है कि धरती के गर्भ में आज भी कई रहस्य छिपे हैं, जिन्हें उजागर करना अभी बाकी है। वैज्ञानिकों की यह खोज प्राचीन सभ्यताओं और उनकी स्ट्रक्चरओं को समझने में एक महत्वपूर्ण कदम साबित हो सकती है।
गीजा के कब्रिस्तान में मिला रहस्यमयी स्ट्रक्चर
डेली मेल की रिपोर्ट के मुताबिक, पुरातत्वविदों की एक टीम गीजा के पश्चिमी कब्रिस्तान पर रडार के जरिए सर्वे कर रही थी। तभी उन्हें एल आकार का एक रहस्यमयी स्ट्रक्चर नजर आया। इसमें एक प्रवेश द्वार भी था। जो अंदर की ओर जा रहा था।
यह देखकर वैज्ञानिक चौंके क्योंकि यहां इस तरह का स्ट्रक्चर कभी नहीं देखा था। छानबीन में पता चला कि यह एक कब्र हो सकती है। जिसका निर्माण करीब 4500 साल पहले किया गया था। नील नदी के पश्चिमी छोर पर स्थित इस जगह को काफी दिनों से संरक्षित करके रखा गया है।
Mysterious underground 'entrance' near Egypt's Great Pyramid baffles archaeologists pic.twitter.com/W5wPpHEcBk
— Nidhal AMDOUNI (@NewsNidhal) May 14, 2024
पिरामिड बनाने वालों की कब्रगाह
जिस जगह पर यह अंडरग्राउंड स्ट्रक्चर मिला है। वहां गीजा का पिरामिड बनाने वालों की कब्रगाह है। इसी कब्रगाह में पिरामिड का निर्माण करवाने वाले राजा खुफू उनके परिवार और उनके अधिकारियों की भी कब्र है। इसीलिए पुरातत्वविद मान रहे हैं कि रेत के नीचे मिला यह स्ट्रक्चर एक विशिष्ट कब्र हो सकती है।
यह स्ट्रक्चर जमीन से 6 फीट नीचे है। वैज्ञानिकों का मानना है कि शायद इसे जानबूझकर बनाया गया था। ताकि लगभग 30 फीट नीचे बने कक्ष के प्रवेश द्वार को बंद किया जा सके।
32 फीट लंबी और 49 फीट चौड़ी स्ट्रक्चर
शोधकर्ताओं के मुताबिक स्कैनिंग मशीन से जांच करने पर पता चला कि दूसरी स्ट्रक्चर 32 फीट लंबी और लगभग 49 फीट चौड़ी है। यह रेत और बजरी के मिश्रण से बनी हुई है। यह स्ट्रक्चर एक मस्तबा भी हो सकती है। मस्तबा एक भूमिगत आयताकार मकबरा होता है।
जिसकी छत सपाट होती है और आमतौर पर चूना पत्थर या मिट्टी की ईंटों से बनी होती है। रिसर्च टीम के प्रमुख मोटोयुकी सातो ने लाइव साइंस को बताया कि ये स्ट्रक्चरएं नेचुरल नहीं हैं। इनका आकार काफी बड़ा है।
कब्र के अंदर की खोज
पुरातत्वविदों की टीम ने जब कब्र के अंदर की छानबीन की, तो उन्हें कई प्राचीन वस्तुएं मिलीं। इनमें कुछ शिलालेख, मिट्टी के बर्तन और अन्य धातु की वस्तुएं शामिल थीं। ये सभी वस्तुएं लगभग 4500 साल पुरानी मानी जा रही हैं। इन वस्तुओं से उस समय के समाज और संस्कृति के बारे में महत्वपूर्ण जानकारियां मिल सकती हैं।