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Haryana IMD Alert: हरियाणा में मानसून सुस्त होने से भारी उमस ने किया बेहाल, इस तारीख से फिर बरसेंगे बादल

हरियाणा में हवा की दिशा में आए बदलाव के कारण मानसूनी सक्रियता में कमी आई है। जिसके चलते प्रदेश के चार जिलों करनाल, कैथल, कुरुक्षेत्र और अंबाला में हल्की से मध्यम बारिश की संभावना बनी हुई है।
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हरियाणा में हवा की दिशा में आए बदलाव के कारण मानसूनी सक्रियता में कमी आई है। जिसके चलते प्रदेश के चार जिलों करनाल, कैथल, कुरुक्षेत्र और अंबाला में हल्की से मध्यम बारिश की संभावना बनी हुई है। इसके साथ ही 30-40 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से हवाएं भी चलने की उम्मीद है जो मौसम को और भी उमस भरा बना सकती हैं।

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तापमान में बढ़ोतरी की संभावना

मौसम विभाग ने बताया है कि बाकी 18 जिलों में आज से तापमान में वृद्धि होने की संभावना है। इस वृद्धि से दिन का तापमान बढ़ेगा और रात का तापमान सामान्य रहने की उम्मीद है। इस तापमान में बढ़ोतरी से हवा में मौजूद नमी बढ़ेगी, जिससे उमस में भी वृद्धि होगी। 12 जुलाई तक मानसून की गतिविधियों में कमी आने की संभावना है, जिससे गर्मी और उमस लोगों को परेशान कर सकती है।

मानसून पर मौसम विभाग की नजर

हालांकि,हरियाणा में कुछ जिलों जैसे हिसार, सिरसा, मेवात, महेंद्रगढ़ और रेवाड़ी में सामान्य से अधिक बारिश हुई है। पिछले दो दिनों में इन जिलों में अच्छी बारिश दर्ज की गई है जबकि बाकी जिलों में सिर्फ बूंदाबांदी हुई है। मौसम विभाग ने चेतावनी जारी की है कि 12 जुलाई से फिर मानसून सक्रिय होगा और अधिकांश जिलों में मौसम साफ रहने की उम्मीद है।

कृषि पर मानसून का असर 

हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय के कृषि मौसम विज्ञान विभाग के अध्यक्ष डॉ. मदन खीचड़ ने बताया कि मानसून की यह सुस्ती आगामी कृषि गतिविधियों पर भी प्रभाव डाल सकती है। किसानों को सलाह दी जाती है कि वे मौसम के अनुसार अपनी फसलों की देखभाल करें और बारिश की संभावना के अनुरूप उनकी सिंचाई और देखभाल करें। 12 जुलाई के बाद मानसून की सक्रियता में बढ़ोतरी होने पर कृषि गतिविधियां पुनः प्रभावित हो सकती हैं।