गर्मी में प्यासा भटक रहे बंदर के लिए पुलिसवाला बना फरिश्ता,  किया ऐसा काम की हर कोई करने लगा सैल्यूट

इंसानियत किसी जगह, मौके ये जीव की मोहताज़ नहीं होती। इंसानियत वो है जो खुद दया और मदद के लिए बिना कहे आगे आए। जो भी ज़रूरमंद ह उसकी मदद करे। चाह वो इंसान हो या जानवर।
 

इंसानियत किसी जगह, मौके ये जीव की मोहताज़ नहीं होती। इंसानियत वो है जो खुद दया और मदद के लिए बिना कहे आगे आए। जो भी ज़रूरमंद ह उसकी मदद करे। चाह वो इंसान हो या जानवर। यही सीख सभी को देनी भी चाहिए। दिल बड़ा हो मदद के हाथ फैलाने में वक्त नहीं लगता।

तपती गर्मी से बेहाल जानवरों को जहां भी देखे उनकी मदद करें। पानी और खाना दे। यही है इंसानियत। ट्विटर पर एक वीडियो लोगों ने खूब पसंद किया। जिसमें एक वर्दीवाला एक बंदर को पानी पिला रहा था।

इस वीडियो में कोई करिश्मा नहीं है। फिर भी इन बेजुबानों के प्रति दया और का भाव देखकर लोगों को बहुत अच्छा लगा। और कांस्टेबल संजय घुडे ने का वीडियो वायरल हो गया।

पुलिसवाले ने दिया पानी, गट-गट कर पी गया बंदर

दरअसल संजय घुडे जिस रास्ते पर वहीं एक बंदर गर्मी से बाहरल नज़र आ रहा था और यहां वहां पानी की तलाश करता सा दिख रहा था। तभी खुद के लिए रखा पानी से भरा बोतल लेकर कांस्टेबल संजय घुले से बंदर के सामने रखा तो उसने झट से बोतल को मुंह से लगाया और गट-गटकर पानी पीने लगा।

बंदर जिस तरह से पानी गटक रहा था उससे साफ पता चल रहा था कि वो किस कदर प्यासा था। मगर खुले आसमान के नीचे हाइवे जैसी सज़क पर पानी मिलना मुश्किल भी तो था लिहाज़ा बेचारा बेजुबान बंदर सड़क पर ही थक हार कर बैठ गया।

पानी न तो बहुत महंगा सामान है, न ही ऐसी वस्तु जो खोजे न मिले। फिर भी एक प्यासे के लिए ये बहुत महत्वपूर्ण हो जाता है। तब और ज्यादा गला सूख रहा है और दूर-दूर तक पानी की बूंद भी नज़र न आ रही हो तो एक घूंट पिलाने वाला भी भगवान लगने लगता है।

कांस्टेबल संजय घुले भी उस वक्त में बेजुबान के लिए किसी भगवान से कम नहीं रहे होंगे जब उन्होंने प्यास से तड़पते वक्त उसे बोतल भर पानी पिलाया। वीडियो खूब पसंद किया जा रहा है।

लेकिन ध्यान रहे हमारा आपका काम ऐसे वीडियो को लाइक कर देने भर से नहीं चलेगा। ज़रूरत है ऐसे ज़रूरतमंदों की मदद और इन पर दया के लिए आगे आने की।